दोहरीघाट। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार मुफ्त दवा और इलाज क्या दावा करती है। चिकित्सा मंत्री और डिप्टी सीएम बृजेश पाठक अस्पतालों का औचक निरीक्षण करते हैं। वही मऊ जिले के गोंठा बाजार में बने सरकारी अस्पताल के डाक्टर और कर्मचारी योगी सरकार के मंसूबे पर पानी फेर रहे हैं। आलम यह है कि अगर आप अस्पताल पहुंचेंगे तो वहां ना तो डॉक्टर मिलेंगे ना ही फार्मासिस्ट मिलेंगे और ना ही अन्य कर्मचारी, स्वीपर को छोड़कर अक्सर सारा अस्पताल वीरान नजर आता है। जिसकी बानगी एक वायरल वीडियो में साफ नजर आ रहा है। वीडियो में देखा जा सकता है कि गोंठा में बने सरकारी अस्पताल में 9 बजकर तीस मिनट तक न तो डॉक्टर अपनी सीट पर थे और न ही फार्मासिस्ट, हमीद नाम के स्वीपर और एक महिला कम्यूनिटी हेल्थ ऑफिसर वीडियो में नजर आ रही हैं जबकि डॉक्टर को लेकर करीब 7 स्टाफ इस अस्पताल में तैनात हैं।
इस मामले पर मऊ के सीएमओ नन्द कुमार का कहना है कि वायरल वीडियो के माध्यम से जानकारी मिली है। एडिशनल सीएमओ से जांच करवा रहा हूं जांच के बाद जो भी तथ्य सामने आयेंगे उसके बाद कार्रवाई की जाएगी।
ओपीडी की टाइमिंग को लेकर दोहरीघाट के चिकित्सा अधीक्षक फैजान अहमद ने टेलीफोन पर बताया कि सीएचसी अंतर्गत सभी पीएचसी की ओपीडी की टाइमिंग 8 बजे सुबह से दोपहर 2 बजे तक है। उसके बाद भी 9 बजकर 30 मिनट तक इस अस्पताल के डाक्टर और स्टाफ नदारद था।
अब सवाल यह है कि गोंठा पीएचसी की ओपीडी की टाइमिंग क्या राम भरोसे चलेगी? और करीब 32 हजार आबादी वाले ग्रामसभा की पीएचसी पर डाक्टर समेत स्टाफ नदारद रहेगा तो योगी आदित्यनाथ की मुफ्त दवाई और इलाज का सपना कैसे पूरा होगा।